रविवार, 6 अप्रैल 2008

जीवनी

ऑकलैंड के समाजवादी पुत्र- श्रमिक लेखक - जैक लंडन
रूप सिंह चन्देल


महान अमेरिकी लेखक जैक लंडन का जन्म सैनफ्रांसिस्को (कैलीफोर्निया) की मार्केट स्ट्रीट में १२ जनवरी, १८७६ को हुआ था. जन्म के समय उनका नाम जॉन ग्रिफिथ चेनी था. ऎसा मना जाता है कि वह यायावर ज्योतिषी और पत्रकार विलियम चेनी की जारज़ संतान थे, जिन्होनें उनकी मां फ्लोरा, जो एक आध्यात्मवादी महिला थीं, से उनके जन्म से पूर्व ही संबध विच्छेद कर लिए थे. फ्लोरा ने जैक के जन्म के आठ माह पश्चात जॉन लंडन, जो भूतपूर्व सैनिक थे, से विवाह किया. जॉन कुछ समय पहले ही सैन फ्रांसिस्को आए थे. बीस-बाइस वर्ष की आयु तक जैक को अपने जन्म की वास्तविक स्थिति की जानकारी नहीं थी. उनकी किशोरावस्था का अधिकांश कैलीफोर्निया के ऑकलैण्ड के तटीय भाग में व्यतीत हुआ. उन्हें सुव्यवस्थित शिक्षा न के बराबर प्राप्त हुई. प्रारंभ में, वह आठवीं स्तर तक ही विद्यालय जा पाये थे, हालांकि उन्हें पढ़ने की उत्कट लालसा थी. अपनी उस लालसा की पूर्ति उन्होनें पब्लिक पुस्तकालयों में, विशेषरूप से 'ऑकलैण्ड पब्लिक पुस्तकालय' में जाकर किया और बाद में कैलीफोर्निया के पहले राजकवि के रूप में प्रसिद्ध हुए. अंतिम दशक के मध्य में (१८९० के बाद) जैक ने ऑकलैण्ड के हाईस्कूल में प्रवेश लिया और स्नातक बने.
जैक ने जीवन के अनेक क्षेत्रों में व्यापक अनुभव प्राप्त किया था. उन्होनें मजदूर, फैक्ट्री श्रमिक, सैनफ्रंसिस्को समुद्र खाड़ी में शुक्ति (सीप) दस्युता, कैलीफोर्निया के मत्स्य गश्तीदल के सदस्य, नाविक, रेलमार्ग मजदूर, क्लोण्डाइक (कनाडा १८९७-९८) में सोने की खोज आदि काम किए. किशोरावस्था में कॉक्सी आर्मी के प्रसिद्ध वाशिगंटन डी.सी. प्रयाण के समय उसमें शामिल हुए और बाद में इरी काउण्टी, न्यूयार्क में आवारागर्दी करते हुए गिरफ्तार हुए . एक पत्रकार के रूप में जैक ने १९०४ में रूस-जापान युद्ध का हर्स्ट समाचार पत्र के लिए रिपोर्टिंग की थी और १९१४ में उन्होनें मैक्सिकन क्रान्ति को कॉलियर के लिए 'कवर' किया था. देशाटन के दौरान वह समाजवाद से परिचित हुए जो वर्षों उनके कर्म और चिन्तन का विषय रहा. उनके भावपूर्ण समाजवादी नुक्कड़ भाषणों के कारण उन्हें ऑकलैण्ड का 'समाजवादी पुत्र' कहा जाता था. समाजवादी पार्टी प्रत्याशी के रूप में अनेक बार वह मेयर का चुनाव लड़े और असफल रहे थे.
१९०० में जैक ने अपनी गणित की शिक्षिका और मित्र बेस मैडर्न से विवाह किया . यह ठेठ विक्टोरियन शादी थी जो प्रेमाधारित नहीं बल्कि अच्छे शिष्टाचार पर आधारित था. बेस से उन्हें दो बेटियां - जोन और बेस (बेकी) थीं. १९०३ में बेस से संबन्ध विच्छेद के बाद उन्होनें अपनी सेक्रेटरी चर्मियन किट्रेज से विवाह किया जिससे उन्हें वास्तविक प्रेम प्रप्त हुआ. वे साथ-साथ खेलते, यात्राएं करते, लिखते और जीवन का आनंद लेते. चर्मियन से उन्हें एक पुत्र हुआ, जो केवल अड़तीस घण्ट ही जीवित रहा था.
१९०७ में चर्मियन के साथ जैक ने स्नार्क में प्रशांत महासागर से द्क्षिणी समुदों की यात्रएं की जो उनके उपन्यास 'क्रूज आफ द स्नार्क' का आधार बना. चर्मियन के सहयोग से उन्होनें कैलीफोर्निया के ग्लेन ब्लेन में १४०० एकड़ जमीन में खूबसूरत फारम विकसित किया. जैक की मृत्यु के समय वह अनेक शारीरिक व्याधियों से ग्रस्त थे, जिसमें पेट की गड़बड़ और किडनियों का काम करना बंद कर देना शामिल थे. उनके मृत्यु प्रमाण पत्र में उनकी मृत्यु का कारण 'यूरेमिक विषाक्तता' (प्वायजनिगं) लिखा गया था .
जैक लंडन अपने समय बहुचर्चित व्यक्ति थे. अपने भाषणों में वह समाजवाद और महिलाओं के मताधिकार की बात अवश्य करते थे. वे उन प्रारंभिक 'सेलेब्रिटीज' में से एक थे जिन्होनें व्यावसायिक उत्पादों, जैसे अंगूर जूस और पुरुषों के सूटिंग्स आदि के विज्ञापनों के लिए अनुबन्ध किए थे.
युवा जैक लंडन की विशिष्ट तेजस्विता, आशावादी उत्फुल्ल व्यक्तित्व और अनेक जीवनानुभव संभवतः संयुक्त रूप से सेवा और उत्तर जीवन के श्रमिक दर्शन में परिवर्तित हुए थे. वह अपने सद्गुणों और सिद्धान्तों के कारण अपने पाठकों के लिए आदर्श बन गए थे और देश के पहले श्रमिक लेखक के रूप में पहचान बनाई थी.
एक बार एक लेखक के रूप में सफलता प्राप्त करने का दृढ़ निश्चय करने के बाद, अपनी अध्यवसायी प्रकृति और अंतर्निष्ठ कौशल के बल पर जैक संदर्भ और अंतर्वस्तु दोनों में अपने समकालीन साहित्यकार मित्रों में शीर्ष स्थान पर पंहुचे थे. उन्होनें एक हजार शब्द प्रतिदिन लिखने का कठोर नियम का पालन किया और अठारह वर्षों के निरंतर लेखन करते हुए प्रभूत मात्रा में उच्च कोटि का साहित्य सृजित किया. वह अपने समय के अमेरिका के सर्वाधिक चर्चित, उच्चतम पारिश्रमिक पाने वाले और बहुत बिकने वाले लेखक थे. वह बहु आयामी सर्जक थे… अनेक विधाओं में उन्होनें कार्य किया. उनकी इक्यावन पुस्तकें और सैकड़ों आलेख प्रकाशित ही थे. हजारों की संख्या में उन्होनें पत्र लिखे थे. उनका सृजित बहुत-सा कार्य उनके मर्णोंपरान्त प्रकाशित हुआ था. उनकी बहुचर्चित पुस्तकों में - 'कॉल आफ दि वाइल्ड' (मूल शीर्षक स्लीपिगं वुल्फ १९०३ में प्रकाशित), दि आयरन हील, ह्वाइट फैंग, दि सी वुल्फ (जिसका मूल शीर्षक था - मर्सी आफ दि सी), दि पीपल आफ दि अबिस (लंदन की मलिन बस्तियों पर समातवैग्यानिक शोध प्रबन्ध पुस्तक), जॉन बर्लेकार्न, मार्टिन ईडेन, और 'दि स्टर रोवर'. उनकी खानी 'टु बिल्ड अ फायर' को युगान्तरकारी रचना माना गया था. उनका साहित्य दर्जनों भाषाओं में अनूदित हुआ और आज पूरे विश्व मेम समादर के साथ पढ़ा जता है. इस अमेरिकी साहित्यिक प्रतिभा ने जीवन और समय के साथ कभी न समाप्त होने वाले आम आदमी के संघर्ष और प्रकृति का अत्यंत कलात्मक कौशल के साथ चित्रण किया. उनकी साहसिक कहानियों को पढ़कर लाखों की संख्या में उत्सुक पाठक रोमांचित हो उठते हैं. लेखक और सामाजिक आन्दोलनकारी उनके ह्रदयस्पर्शी गद्य को पढ़कर प्रेरित होते थे. तथापि, उनके अनेक जीवनानुभव उनके कथा साहित्य से कहीं अधिक उत्तेजक हैं
कहते हैं जैक लंडन से अधिक जलयात्राओं को प्रेम करने वाला व्यक्ति शायद ही कोई अन्य हो, विशेषरूप से कोई कलाकार. जब वह बच्चे थे और अपने सौतेले पिता के साथ मछ्लियां पकड़ रहे होते तब वह उष्ण कटिबन्धी द्वीपों और दूर-दराज के स्थानों के स्वप्न देखा करते थे. जैसे ही वह बड़े हुए, अपने छोटे-मोटे कामों से संग्रहीत पैसों से वह प्रायः नाव किराए पर लेने लगे थे. जब जैक पन्द्रह वर्ष के थे, उन्होंने अपनी ऑण्ट जेनी प्रेण्टिस की आर्थिक सहायता से 'रेज़ल-डैज़ल' नामक जहाज खरीदा और गैर कानूनी रूप से समुद्र में सीपी लूटना प्रारंभ कर दिया. वह 'शुक्ति(सीप) दस्युता के राजकुंवर' के रूप में जाने जाते, इससे पहले ही एक सप्ताह में उन्होनें इतना धन कमा लिया था जितना एक लेखक के रूप में एक वर्ष में भी वह न कमा पाते. यह अनुभव करके कि 'शुक्ति दस्युओं' का जीवन प्रायः जेल में व्यतीत होता है या वे मृत्यु का शिकार होते हैं, अपने को बदलते हुए वह 'कैलीफोर्निया मत्स्य गश्तीदल के उप' नियुक्त हुए.
अपने जीवन काल में जैक ने विभिन्न जहाजों में जापान (सोफिया सदरलैंड), अलास्का (एस.एस.उमातिला और सिटी आफ टोपेका), इंग्लैंड (आर.एम.एस.मैजिस्टिक), साइबेरिया (एस.एस.साइबेरिया - रूस-जापान युद्ध के दौरान संवाददाता के रूप में), कोरिया, हवाई, ताहिती से सैनफ्रांसिस्को, आस्ट्रेलिया से इक्वाडोर, सीटल से कैलीफोर्निया, न्यूयार्क से सैनफ्रांसिस्को, अमेरिकी सैन्य जहाज किल्पैट्रिक में मैक्सिको (मैक्सिकन क्रान्ति के विषय में लिखने के लिए), आदि स्थानों की यात्राएं की थीं. कुछ स्थानों की यात्राएं उन्होनें एकाधिक बार की थीं.
क्लोण्डाइक (उत्तर पश्चिमी कनाडा का एक क्षेत्र जहां १८९० के दशक में सोना प्राप्त हुआ था और धनवान बनने के लिए बहुत से लोग वहां गए थे ) ज्वर से त्रस्त होने के पश्चात जैक ने २५ जुलाई १८९७ में एस.एस. उमातिला पर सैनफ्रासिंस्को से वहां के लिए प्रस्थान किया. उनके साथ उनके वृद्ध साले कैप्टेन शेफर्ड भी थे और उन्हीनें उनके इस अभियान के लिए धन खर्च किया था. २००० पाउण्ड की आवश्यक वस्तुएं, जिनमें गर्म कपड़े, भोजन, खदान के औजार, टेण्ट, कंबल और क्लोण्डाइक स्टोव के साथ जैक दिया नदी और विख्यात चिल्कूट दर्रे के रास्ते युकोन क्षेत्र में प्रविष्ट हुए. सोने के खोज के एक माह पश्चात नवम्बर, १८९७ के प्रारंभ में हेण्डर्सन ग्रीक पर उन्होनें अपना अधिकार प्रकट किया था. ठण्ड के लम्बे मौसम में जैक सोने के खोजी लोगों को कहानियां सुनाया करते थे और अपनी कहानी कहने की योग्यता के लिए चर्चित हो गए थे.
मई, १८९८ में ताजे फलों और सब्जियों के अभाव में वह स्कर्वी रोग से ग्रस्त हो गए. परिणामतः उन्हें सोने की खोज स्थगित करनी पड़ी थी. हताशापूर्वक वह तुरन्त उपचार की आवश्यक्ता अनुभव कर रहे थे, और व्यग्रतापूर्वक युकोन नदी में बर्फ पिघलने की प्रतीक्षा कर रहे थे जिसके कारण मार्ग अवरुद्ध था. वहां उन्हें बहुत मामूली उपचार सुविधा उपलब्ध हुई और उन्हें घर वापस लौटने की सलाह दी गई. अंततः युकोन नदी मार्ग से एक छोटी नाव में १५०० किलोमीटर की लंबी यात्रा तय करते हुए २८ जून को वह सेण्ट माइकल पहुंचे. सेण्ट माइकल से उन्होनें घर के लिए प्रस्थान किया. अलास्का और क्लोण्डाइक (कनाडा) में रहते हुए जैक लण्डन में अद्भुत अंतर्दृष्टि का विकास हुआ. यद्यपि उन्हें बहुत सोना प्राप्त नहीं हुआ था, लेकिन उन्हें अनुभव का अपार भण्डार प्राप्त हुआ था, जो उनके भावी उपन्यासों और कहानियों का आधार बननेवाला था.
ऑकलैण्ड, कैलीफिर्निया पहुंचने के बाद उन्हें अपने सौतेले पिता जॉन लंडन की मृत्यु का समाचार प्राप्त हुआ. बाइस वर्ष की आयु में मां और सौतेले भाई के भरण-पोषण का भार उन पर आ पड़ा था. यद्यपि उन्होनें हर प्रकार की नौकरी की तथापि उन्हें कोई स्थायी काम नहीं मिला. अंततः निराशा के कारण उन्होंने अपना अधिकांश सामान बेच दिया और पूरी तरह लेखन में डूब गए थे. वह प्रतिभाशाली और बहु-आयामी व्यक्ति थे, फिर भी उनकी लगभग सभी प्रारंभिक रचनाएं अस्वीकृत हुईं थीं. दिसम्बर, १८९८ के प्रारंभ में उन्होनें अपनी पहली कहानी, अलास्का की एक लोककथा - 'टु दि मैन आन ट्रायल' (To the Man on Trail ) को बेचा. इस प्रकार उनका लेखकीय जीवन प्रारंभ हुआ था.
१९०५ में चर्मियां के साथ कैलीफोर्निया के ग्लेन इलेन में लेक रॉबिन लाज़ में रहते हुए जैक लंडन ने स्थायी रूप से 'वैली ऑफ मून' में बसने का निर्णय किया. जून में उन्होनें १३० एकड़ जमीन का एक टुकडा़ - 'हिल रैंच' खरीदा जिसमें खूबसूरत पेड़, खेत, चश्मे, सीधे खड़े पत्थरों वाली गहरी घाटियां , पहाड़ियां, और बड़ी मात्रा में जंगली जानवर थे. जमीन के छः और टुकड़े खरीदने के बाद जैक लंडन का 'ब्यूटी रैंच' १४०० एकड़ भूभाग में विस्तारित हो गया और वह सारी जमीन उन्होंने सात भागों में १९०५ से १९१३ के मध्य खरीदी थी. जैक को पशुपालन बहुत प्रिय था. अपने 'ब्यूटी रैंच' में उन्होनें अनेक प्रकार के जानवर पाल रखे थे, जिनमें विशेष प्रकार के सांड़, घोड़े और सुअर थे. उसमें उन्होनें विभिन्न प्रकार की फसलें उगायीं, जिनमें उन्होंने चालीस एकड़ में शराबी अंगूर लगाए थे. एक सोते में बांध बनाकर सिंचाई और मनोरंजन के लिए एक झील तैयार की थी. सीढ़ीदार खेती से सर्वप्रथम उन्होनें लोगों को परिचित करवाया था. बड़े रकबे में जई की फसल की रिकार्ड पैदावार की थी. उन्होनें नवीनतम प्रयोग किए. उदाहरणस्वरूप बिना कांटों का कैक्टस 'प्लांट विजार्ड' जिसे उनके मित्र लूथर बरबैंक (जो सांता रोजा के निकट रहते थे) ने विकसित किया था, जिसका उपयोग अनुर्वर क्षेत्र में जानवरों के भोजन के लिए होना था, लेकिन दुर्भाग्य से कैक्टस पूरी तरह कांटों रहित विकसित नहीं हो पाया था. उन्होनें आस्ट्रेलिया से हजारों की संख्या में युक्लिप्टस के वृक्षों का इस आशा से आयात किया था कि उनका उपयोग इमारती लकड़ी के रूप में किया जा सकेगा, लेकिन लकड़ी बहुत नरम थी. जैक का 'पिग पैलेस' काउण्टी का दर्शनीय स्थल था और जैक की कंक्रीट की खत्ती (बुखारी) कैलीफोर्निया में पहली थी. रैंच में एक और दर्शनीय बिल्डिगं थी - 'भव्य वुल्फ़ हाउस' - पूर्णतया देशी पेड़ों की लाल लकड़ी और स्थानीय उत्खनित ज्वालामुखीय और नीले स्लेटी पत्थरों से निर्मित 'वुल्फ़ हाउस' के निर्माण में दो वर्षों से अधिक का समय लगा था. जैक और चर्मियां के वहां रहने जाने से कुछ दिन पहले ही वुल्फ़ हाउस मजदूरों की लापरवाही के कारण जलकर नष्ट हो गया था, केवल दीवारें ही शेष बची थीं. भ्रमणार्थी आज भी जैक लंडन का 'ब्यूटी रैंच' देखने और उसका आनंद उठाने जाते हैं. अब यह कैलीफोर्निया का ऎतिहासिक पार्क है, जिसमें 'हाउस आफ हैपी वाल्स म्यूजियम, पिग पैलेस, जैक लंडन की कब्र, झील, वुल्फ़ हाउस के भग्नावशेष के अतिरिक्त और भी बहुत कुछ दर्शनीय है.

अगला अंक
‘हम और हमारा समय’ के अंतर्गत राधेश्याम तिवारी की कविताएं और सूरज प्रकाश की कहानी- “क्या आप ग्रेसी राफेल से मिलना चाहेंगे?”

5 टिप्‍पणियां:

बेनामी ने कहा…

भाई चन्देल जी,

वातायन और रचनासमय के द्वारा आप धूम मचा रहे हैं. (अत्युत्तम प्रयास).

रामेश्वर काम्बोज ’हिमांशु’

बेनामी ने कहा…

My dear Chandel,
You have been outstanding throughout your service career and now through Vaatayan and Rachnasamay you are maintaining the same standard. It shows your dedication to whatever assignment you have. Keep it up.
I. BURMAN

बेनामी ने कहा…

Thanks for Vaatayan.

This's highly appreciable effort. Very persevering indeed. I have gone through some part of it. As a reader, I find your selection of things done is excellent. However I would like to read Tolstoy which I don't see here.

JL Gupta

रूपसिंह चन्देल ने कहा…

प्रिय गुप्ता जी,

अभी तक टॉल्स्टाय की जीवनी वातायन में पोस्ट नहीं की गई है. प्रयास होग कि उसे जून अंक में पोस्ट कर सकूं.

आप नियमित वातायन देख रहे हैं, इसके लिए आभार.

चन्देल

J.L. Gupta 'Chaitanya' ने कहा…

Thanks a lot for your response.

J.L.GUPTA